श्रवण दोष के प्रमुख कारण क्या है?

श्रवण दोष के प्रमुख कारण क्या है?

इसे सुनेंरोकेंश्रवण बधिरता/सुनने में परेशानी वंशागत या मातृ रूबेला बीमारी या जन्मजात जटिलताओं या निश्चित संक्रामक बीमारियों जैसे कि मैनिंजाइटिस, ओटोटोक्सी दवाएं (कानों के लिए टोक्सी दवाओं), अत्यधिक शोर और बुढ़ापे के कारण हो सकती है।

केंद्रीय श्रवण बाधित का क्या है?

इसे सुनेंरोकेंश्रवण बाधित बालक का अर्थ- जब कोई बालक सामान्य ध्वनि को सुनने में असक्षम हो जाता है, तो उसे अक्षम कहा जा सकता है और इस अवस्था को श्रवण बाधिता कहा जाता है। भारत में इस प्रकार की समस्या से ग्रसित प्रायः हर आयु के लोग पाये जाते हैं, जिसके अनेकों कारण हैं।

मन्द श्रवण क्षति युक्त बालकों में कितने डेसीबल का क्षय श्रवण होता है?

इसे सुनेंरोकेंभारतीय पुनर्वास परिषद् के अनुसार “जब बधिरता 70 डेसीमल हो, तो व्यवसायिक तथा जब 55 डेसिमल तक हो, तो उसे शिक्षा के लिये प्रयोग में लेना चाहिए।” योजना आयोग एवं विकलांग जन अधिनियम (1995) के अनुसार “वह व्यक्ति श्रवण बाधित कहा जायेगा, जो 60 डेसिमल या उससे अधिक डेसिमल पर सुनने की क्षमता रखता हो।”17 सित॰ 2018

श्रवण विकलांगता कितने प्रकार की होती है?

इसे सुनेंरोकेंचालकीय, संवेदनिक तथा मिश्रित श्रवण दोष प्रकृति में सम्बद्धित हो सकता है। ii. आकस्मिक श्रवण दोष- जब किसी व्यक्ति की श्रवण तंत्रिका चोट के कारण क्षतिग्रस्त हो जाती है तो इसे आकस्मिक श्रवण दोष कहते है। आकस्मिक श्रवण दोष, संवेदनिक श्रवण दोष का ही एक रूप है।

बधिरता से क्या अभिप्राय?

इसे सुनेंरोकेंबधिरता या बहरापन (deafness) एक आम बीमारी है। इस विकार की स्थिति में सुनने की शक्ति कम हो जाती है। इसके सातह ही साथ व्यक्ति की सामाजिक व मानसिक परेशानियां भी बढ़ जाती हैं।

श्रवण बाधित बच्चों को पढ़ाने के लिए क्या प्रयुक्त की जाती है?

इसे सुनेंरोकें1. समन्वित कक्षाकक्ष (Integrated Classrooms)- इस प्रकार की शिक्षा व्यवस्था में श्रवण बाधित बच्चों को सामान्य बच्चों के साथ सामान्य विद्यालयों में शिक्षित किया जा सकता है। कम श्रवण बाधित बच्चों को समन्वित शिक्षा व्यवस्था के द्वारा शिक्षित किया जाता है।

गामक अक्षमता क्या है?

इसे सुनेंरोकेंग) गंभीर प्रमस्तिष्कीय पक्षाघात (Severe Cerebral Palsy) – गामक एवं शरीर स्थिति से सम्बंधित विकलांगता पूर्णतः होती है। बच्चो को दूसरों पर निर्भर रहना पड़ता है। इस श्रेणी के बच्चो को अपनी नित्य क्रिया जैसे- कपड़े पहनना, ब्रश करना, स्नान करना, खाना-पीना इत्यादि के लिए दूसरों पर निर्भर रहना पड़ता है।

दृष्टि बाधित बालकों का शैक्षिक साधन क्या है?

इसे सुनेंरोकेंबालकों के लिए ब्रेल शिक्षण की व्यवस्था करनी चाहिए। दृष्टिबाधित बालक पठन व लेखन का कार्य स्पर्श रूप में करता है। बेल लेखन कार्य दाएं से बाएं ओर होता है जबकि पठन बाएं से दाएं ओर होता है। ब्रेल प्रशिक्षण के द्वारा दृष्टिबाधित बालकों को पढ़ने– लिखने में सहायता मिलती है।

शारीरिक विकलांगता क्या है?

इसे सुनेंरोकेंशरीर में किसी तरह की अपंगता या किसी भाग का सामान्य से अलग होना अथवा कार्य न करना शारीरिक विकलांगता को दर्शाता है. बहरापन, गूंगापन, अंधापन, लंगड़ाना आदि कुछ ऐसी विकृतियां हैं जिनसे मनुष्य को सामान्य जीवन जीने में परेशानी होती है.

कैसे सुनवाई बिगड़ा बच्चे की पहचान करने के लिए?

मानसिक विकलांगता वाले वयस्कों और बच्चों दोनों में निम्नलिखित विशेषताएं देखी जा सकती हैं:

  1. मौखिक भाषा के विकास में देरी
  2. स्मृति कौशल की न्यूनता
  3. सामाजिक नियमों को सीखने में कठिनाई
  4. समस्या का हल करने के कौशल में कठिनाई
  5. स्वयं-सहायता या खुद अपनी देखभाल करने की क्षमता जैसे कौशल के अनुकूल व्यवहार के विकास में देरी.

पिछड़े बालकों को शिक्षा के क्षेत्र में अग्रसर करने के लिए क्या करना चाहिए?

इसे सुनेंरोकेंगरीब परिवार के बच्चों को निशुल्क शिक्षा तथा छात्रवृत्तियाँ देने की व्यवस्था की जानी चाहिए। बालकों के पिछड़ेपन को दूर करने के लिए परिवारिक वातावरण में सुधार करने का प्रयास करना चाहिए। बालकों के पिछड़ेपन को दूर करने के लिए बालकों के माता-पिता को शिक्षित करना जरूरी है और उनमें अच्छी आदतें विकसित करने का प्रयास करना चाहिए।

शारीरिक अक्षमता क्या है?