सुबह उठने का सही समय क्या है?

सुबह उठने का सही समय क्या है?

इसे सुनेंरोकेंब्रह्म मुहूर्त से सूर्योदय के बीच किसी भी समय जागना बहुत अच्छा है। इस समय प्रकृति में सात्विक गुण होते हैं। इससे मन को शांति और इंद्रियों को ताजगी मिलती है। इसलिए सूर्योदय से पहले उठना बहुत अच्छा है

सुबह उठते ही किसका नाम लेना चाहिए?

इसे सुनेंरोकेंसुबह उठकर भगवान का नाम लेना चाहिए यह हम सभी जानते हैं। लेकिन एक रामचरित मानस के अंश सुंदरकांड में स्वयं भगवान हनुमान का एक कथन है, जिसमें वह कहते हैं कि सुबह उठते ही उनका नाम नहीं लेना चाहिए। तुलसीदासजी हनुमानजी के कथन में लिखते हैं – ‘प्रात: लेइ जो नाम हमारा

घुटन क्यों होती है?

इसे सुनेंरोकेंयह समस्या श्वसन प्रणाली में संक्रमण या बीमारी, हृदय की बीमारी, ब्रोंकाइटिस, एलर्जी और खून की कमी से भी हो सकती है. ये सारे लक्षण उन लोगों में अधिक पाए जाते हैं जिन्हें फेफड़ो का कैंसर होता है. ऐसे में जानें कुछ घरेलू उपायों के बारे में जिनकी मदद से आप सांस फूलने की समस्या से निजात पा सकते हैं

सुबह जल्दी उठने का क्या फायदा है?

आइए आपको बताते हैं कि अमीर और बुद्धिमान होने के अलावा जल्दी उठने के और भी ढेरों फायदे क्या हैं…

  • जल्दी उठने से पेट का स्वास्थ्य सही रहता है
  • यह आपके मानसिक स्वास्थ्य में सुधार करता है
  • जल्दी उठने वालों का दिमाग तेज काम करता है
  • यह प्राकृतिक उपचार और उत्थान प्रदान करता है
  • आपकी उत्पादकता में सुधार करता है
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सुबह सुबह छिपकली देखने से क्या होता है?

इसे सुनेंरोकेंसुबह के समय छिपकली दिखना शुभ माना जाता है। इसका संकेत होता है कि आपके जीवन में धन संपदा की वृद्धि होने वाली है। वैसे तो छिपकली का दिखना हमेशा ही शुभ माना जाता है

सांस लेने में भारीपन क्यों होता है?

इसे सुनेंरोकेंअस्थमा एक ऐसी बीमारी है जो किसी भी उम्र के लोगों को आसानी से हो जाती है. बढ़ते वायु प्रदूषण की वजह से अब इसके मामले और ज्यादा आने लगे हैं. अस्थमा में सांस की नली में सूजन आ जाती है जिसकी वजह से सांस लेने में तकलीफ होती है. अस्थमा के मरीजों में निमोनिया और कोरोना वायरस का भी खतरा ज्यादा होता है

सांस लेने में दिक्कत होने के क्या कारण है?

इसे सुनेंरोकेंसांस की नली में सूजन, किसी इंफेक्शन या किसी अन्य कारण से जब ऑक्सीजन पर्याप्त मात्रा में शरीर के अंदर प्रवेश नहीं कर पाती है तो आपकी सांसे छोटी होने लगती हैं. यह बीमारी अगर लंबे समय से चली आ रही है तो अस्थमा, निमोनिया या क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (सीओपीडी) का लक्षण हो सकती है