अगर तुम्हें घर में 1 दिन के लिए सारे अधिकार दे दिए जाए तो तुम क्या क्या करोगे?
इसे सुनेंरोकेंअगर तुम्हें घर में एक दिन के लिए सारे अधिकार दे दिए जाएँ तो तुम क्या-क्या करोगी? उत्तर 1 अगर हमें एक दिन के लिए सारे अधिकार दे दिए जाएँ तो हम:- घर पर सबको सुबह- सुबह पढ़ने बिठाएंगे। अपनी मर्ज़ी का खाना पकवायेंगे। खूब देर तक खेलेंगें।
खिड़की में जाली लगा कर कबूतर के आने जाने का रास्ता बंद कर देना क्या सिद्ध करता है पाठ के आधार पर लिखिए?
इसे सुनेंरोकेंलेखक कहता है कि कबूतरों के बार-बार आने-जाने और चीज़ों को तोड़ने से परेशान हो कर लेखक की पत्नी ने जहाँ कबूतरों का घर था वहाँ जाली लगा दी थी, कबूतरों के बच्चों को भी वहाँ से हटा दिया था। जहाँ से कबूतर आते-जाते थे उस खिड़की को भी बंद किया जाने लगा था। अब दोनों कबूतर खिड़की के बाहर रात-भर चुप-चाप और दुखी बैठे रहते थे।
तुम्हारे विचार से वे कौन कौन सी तरकीब सोचते होंगे?
इसे सुनेंरोकेंतुम्हारे विचार से उनमें से कौन-कौन से काम उन्हें बिना शिकायत किए कर लेने चाहिए थे और कौन-कौन से कामों के लिए मना कर देना चाहिए था? दोनों घंटों बैठकर इन पाबंदियों से बच निकलने की तरकीबें सोचा करते थे।” तुम्हारे विचार से वे कौन कौन-सी तरकीबें सोचते होंगे? कौन-सी तरकीब से उनकी इच्छा पूरी हो गई थी?
गवरइया और गवरे के बीच बहस का कारण क्या था?
इसे सुनेंरोकेंगवरइया को अपनी इच्छा पूरी करने का अवसर तब मिला जब वे दोनों घूरे पर दाना चुनने गए थे, जहाँ उन्हें रुई का फाहा मिला था। उसने उससे सूत कतवाया, कपड़े बनवाए तथा टोपी सिलाकर अपनी इच्छा पूरी की। प्रश्न 2. गवरइया और गवरे की बहस के तर्को को एकत्र करें और उन्हें संवाद के रूप में लिखें।
टोपी के बारे में सोच कर गवरड्या क्या चाहती थी?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर : अपनी सुंदर सी टोपी पहन गवरइया ने गवरे को दिखाया। गवरे ने उसकी प्रशंसा की किंतु गवरइया टोपी दिखाने राजा के पास गई वह राजा को यह अहसास करवाना चाहती थी कि राजा ! तू प्रजा को बिना पारिश्रमिक दिए काम करवाता है।
क्या सोचकर आरिफ की बात मान ली?
इसे सुनेंरोकेंAnswer: अब्बा ने सोचा – “रोज़ हर आदमी बच्चों पर हुक्म चलाता है। अत: आज हुक्म चलाने का मौका इन्हें दिया जाए।” इसलिए उन्होंने आरिफ़ की बात मान ली।
लेखक की पत्नी ने कबूतरों से परेशान होकर क्या किया?
इसे सुनेंरोकेंAnswer: लेखक के घर में कबतूर ने घोसला बना लिया था जिसमें दो बच्चे थे उनको दाना खिलाने के लिए कबूतर आया जाया करते थे, सामान तोड़ा करते थे। इससे परेशान होकर लेखक की पत्नी ने मचान के आगे घोंसला सरका दिया और वहाँ जाली लगवा दी।
आरिफ़ ने अम्मी को कंधे से पकड़कर क्या करने को भेजा था?
इसे सुनेंरोकेंखाने की मेज पर सलीम ने अम्मी को टोका, “अम्मी, जरा अपने दाँत देखिए, पान खाने से कितने गंदे हो रहे हैं।” और अम्मी के लाख कहने पर कि वे अपने दाँत माँज चुकी हैं, सलीम ने ज़बरदस्ती कंधा पकड़कर उन्हें उठा दिया और गुसलखाने में भेज दिया। सलीम अब अब्बा की तरफ मुड़ा, “…
बाघ कहाँ रहता था?
इसे सुनेंरोकें(ख) बाघ जंगल में रहता है। यह मांस खाता है। यदि यह जंगल को छोड़कर गाँव में आ गया है, तो गाँव में लोगों को शिकार करके खा सकता है। अतः बाघ का गाँव में आना अनूठी बात ही है।
अब्बा ने आरिफ और सलीम की बात क्यों मान ली?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर: आरिफ और सलीम ने अम्मी के अधिकार छीन लिए थे। कायदे से तो उन्हें अम्मी के अधिकार नहीं छीनने चाहिए थे लेकिन उन्होंने ऐसा इसलिए किया क्योंकि वे | इस बात से काफी परेशान हो चुके थे कि उन्हें अपनी मर्जी से चैं करने की भी इजाजत नहीं थी। पाबंदियाँ लगाने का अधिकार।
बादशाह क्या होती है?
इसे सुनेंरोकेंपुराने समय में बादशाह (राजा) का हुक्म सबके लिए महत्वपूर्ण होता था। वह संपूर्ण प्रजा पर राज करता था। सब उससे डरते और उसका हुक्म मानते थे। बादशाह के इसी अधिकार को ‘बादशाहत’ कहते हैँ।