भारतेन्दु की दृष्टि में इंग्लैण्ड की उन्नति का मूल कारण क्या है संक्षेप में लिखिए?

भारतेन्दु की दृष्टि में इंग्लैण्ड की उन्नति का मूल कारण क्या है संक्षेप में लिखिए?

इसे सुनेंरोकेंभारतेन्दु जी ने अंग्रेजों की नीति का उदाहरण देकर स्पष्ट किया है कि अंग्रेजों की धर्मनीति और राजनीति परस्पर मिली हैं इस कारण वे लगातार उन्नति करते जा रहे हैं । हमारे यहाँ धर्म की आड़ में विविध प्रकार की नीति, समाज-गठन आदि भरे हुए हैं । ये उन्नति का मार्ग प्रशस्त नहीं करते ।

भारतवर्षोन्नति कैसे हो सकती है पाठ का सारांश अपने शब्दों में लिखिए?

इसे सुनेंरोकेंउनका यह निबंध हरिश्चंद्र चंद्रिका के दिसंबर 1884 के अंक में प्रकाशित हुआ था। इस निबंध (nibandh) में लेखक ने कुरीतियों और अंधविश्वासों को त्यागकर शिक्षित होने, सहयोग एवं एकता पर बल देने तथा सभी क्षेत्रों में आत्मनिर्भर होने की प्रेरणा दिया है।

भारतेन्दु ने भारतीयों को राष्ट्रोन्नति के लिए क्या क्या सुझाव दिये?

इसे सुनेंरोकेंदेश में बेरोज़गारी बढ़ गई है। यह देखते हुए उन्होंने कहा है कि अभागे आलसी देश में जो कुछ हो जाए वही बहुत कुछ है। वह कहते हैं कि इसके लिए हमें सबसे पहले अपने अंदर व्याप्त आलस को हटाना होगा। भारतीयों ने निकम्मेपन का जो रोग पाल रखा है, उससे निजात पाना होगा।

उन्नति कैसे हो सकती है?

इसे सुनेंरोकेंभाइयो, अब तो नींद से चौंको, अपने देश की सब प्रकार से उन्नति करो. जिसमें तुम्हारी भलाई हो वैसी ही किताबें पढ़ो, वैसे ही खेल खेलो, वैसी ही बातचीत करो. परदेशी वस्तु और परदेशी भाषा का का भरोसा मत रखो. अपने देश में अपनी भाषा में उन्नति करो.

भारत वर्ष की उन्नति कैसे हो सकती है?

इसे सुनेंरोकेंभाइयों, अब तो नींद से चौकों, अपने देश की सब प्रकार से उन्नति करो। जिसमें तुम्हारी भलाई हो वैसी ही किताब पढ़ो, वैसे ही खेल खेलो, वैसी ही बातचीत करो। परदेशी वस्तु और परदेशी भाषा का भरोसा मत रखो। अपने देश में अपनी भाषा में उन्नति करो।

भारतवर्ष में कैसे हो सकती है?

भारतवर्ष की उन्नति कैसे हो सकती है MCQ?

इसे सुनेंरोकेंअतः हमें इस आलस्य को त्यागना होगा और अपने समय का सही सदुपयोग करना होगा। इस तरह हम समय का सही उपयोग करके उन्नति के मार्ग में चल सकते हैं। हमें अपने स्वार्थों तथा हितों का त्याग करना होगा। लेखक के अनुसार हमें अपने देश, जाति, समाज इत्यादि के लिए अपने स्वार्थों तथा हितों का त्याग करना होगा।

निबंध के अनुसार भारतवर्ष की उन्नति कैसे हो सकती है?

उन्नति के वर्तमान साधनों और भारतीयों की दुर्भाग्य हीनता के संबंध में लेखक के क्या विचार हैं?

इसे सुनेंरोकेंAnswer: लेखक मानते हैं कि हिदुस्तानी लोग आलस के कारण बेकार हो गए हैं। उनकी जो योग्यताएँ और क्षमताएँ हैं, वे आलसपने के कारण समाप्त हो गई हैं। अब उनमें नेतृत्व का गुण नहीं रहा है।